
- Rishabh pant accident, 90° तक मुड़ा घुटना, टूटे लिगामेंट औ
- Rishabh pant car accident -" क्या मैं फिर क्रिकेट खेल पाऊँगा?"
- मरीज से योद्धा तक: 635 दिन की कठिन यात्रा
- क्रिकेट में वापसी
- हालिया प्रदर्शन: Lord’s में धमाका
- चोट का भविष्य पर प्रभाव
- ✅ निष्कर्ष
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Rishabh pant accident, 90° तक मुड़ा घुटना, टूटे लिगामेंट औ
र फटी मासपेशियों से वापसी: ‘मिरेकल मैन’ पंत की कहानी! Rishabh pant – A story of a legend
30 दिसंबर 2022 को सुबह-सुबह ऋषभ पंत Mercedes GLE‑43 SUV से रुड़की जा रहे थे। जब ऋषभ पंत दिल्ली-देहरादून राजमार्ग पर थे तब उन्हें झपकी आ जाने से कार नियंत्रण खो बैठी और डिवाइडर से टकराकर पलट गया। दुर्घटना इतनी गंभीर थी कि कार में आग लग गई, और ऋषभ पंत लगभग दो मिनट तक अंदर फंसे रहे। कार की हालत इतनी गंभीर थी कि देखने वाले के रोंगटे खड़े हो जाएं। गंभीर रूप से घायल ऋषभ पंत को स्थानीय लोगों ने अस्पताल पहुंचाया। उनके घुटने 90° तक मुड़ चुके थे साथ ही सिर, पीठ और पैर पर भयंकर चोटें आईं।
Rishabh pant car accident -” क्या मैं फिर क्रिकेट खेल पाऊँगा?”
डॉ. दिनशॉ पारदीवाला के नेतृत्व में मुंबई के कोकिलाबेन अस्पताल में उनकी चार‑घंटे की सर्जरी की गई, जिसमें उनके ACL, PCL, LCL और अन्य क्षेत्र की पुनर्निर्माण प्रक्रिया शामिल थी। फिजियोथेरेपिस्ट ने पंत के शरीर की क्षति देखते हुए बताया कि परिस्थिति इतनी गंभीर है कि ऐसी स्थिति में फिर से चल पाना भी मुश्किल होता है। ऋषभ पंत ने खुद से सवाल किया “क्या मैं फिर क्रिकेट खेल पाऊंगा?” जिसका जवाब भी उन्होंने बखूबी दिया। पंत की इक्षाशक्ति इतनी मजबूत थी कि उन्होंने खुद को फिर से क्रिकेट खेलने लायक बनाया।
मरीज से योद्धा तक: 635 दिन की कठिन यात्रा
डॉ. पारदीवाला और NCA फिजियोथेरपिस्टों की देखरेख में पंत ने लगभग 45 दिन बिस्तर पर बिताए, उसके बाद उन्होंने सीढ़िया चढ़ना शुरू किया। चार महीने में क्रच से धीरे-धीरे चल पाना संभव हुआ। बाद में जो अभियान शुरु हुआ वह हद से ज्यादा कठिन और दर्द भरा था। कई दिनों का सघन पुनर्वास, कई सर्जरियाँ और जानलेवा दर्द जहाँ तक मुमकिन हो, पंत द्वारा झेला गया।
डॉक्टरों ने ऋषभ पंत से कहा था कि रिकवर होने में 18 महीने लगेंगे, लेकिन पंत ने अपने आत्मविश्वास और इक्षाशक्ति से यह अवधि केवल 12 महीनों में पूरी की। अंततः वह दोबारा चलने, फिर दौड़ने और आखिर में बल्ला हाथों में थामकर गेंद का सामना करने लगे। वह खुद कहते हैं: “One step stronger, one step better”। खुद से सीढ़ियां चढ़ने, वॉशरूम जाने और आखिर में क्रिकेट खेलने तक, हर क्षण उनकी जीत का सबूत दे रहा था। 2023 का लगभग पूरा समय उन्होंने अपनी strength को हासिल करने में लिया। पंत ने दुर्घटना को एक सीख के तौर पर लिया और अपनी मनःस्थिति को ठीक किया। हाल ही में ऋषभ पंत ने भयानक कार हादसे पर एक बार फिर खुलकर बात की है और अपने संघर्ष को बताया।
क्रिकेट में वापसी
मार्च 2024 में IPL में Delhi Capitals के कप्तान के रूप में पंत ने 18 (13 गेंदों में) की शुरुआत की, इसके बावजूद टीम हारी, लेकिन यह निश्चित रूप से उनके लिए बड़ी जीत थी।
उसके बाद जून 2024 में T20 World Cup में वे वापसी कर National Team में शामिल हुए, और उनके भावुक प्रदर्शन को प्रशंसा मिली।
मई 2025 में Headingley में England बनाम India टेस्ट में उन्होंने जोरदार वापसी करते हुए दोहरी सेंचुरी बनाई, आधिकारिक रूप से
पहले भारतीय विकेटकीपर बने जिन्होंने इंग्लैंड में दोनों पारियों में शतक बनाए, इस प्रदर्शन से क्रिकेट जगत चकित हो उठा।
हालिया प्रदर्शन: Lord’s में धमाका
12 जुलाई 2025 को Lord’s के Day 3 पर गंभीर अंगुली की चोट से जूझते हुए पंत ने रिकॉर्ड तोड़ प्रदर्शन किया:
- Vivian Richards का रिकॉर्ड तोड़ा – सबसे ज़्यादा छक्के किसी टेस्ट सीरीज़ में वो भी इंग्लैंड में।
- Rohit Sharma का रिकॉर्ड बराबर किया– सबसे ज्यादा छक्के।
- MS Dhoni को पीछे छोड़ा—ईंग्लैंड में किसी भी भारतीय विकेटकीपर का सर्वाधिक रनों का रिकॉर्ड।
यह कारनामा अंगुली की चोट के बावजूद हुआ जो पंत की mental और physical मजबूती को दर्शाता है।
चोट का भविष्य पर प्रभाव
इन सब घटनाओं का उनके करियर पर बहुमूल्य प्रभाव रहा:
- मानसिक मजबूती – हादसा, दर्द और पुनर्वास ने उनके मानसिक दायरे खोले।
- नेतृत्व क्षमता – कार एक्सिडेंट के बाद IPL में टीम का नेतृत्व, National Camp में स्थिर प्लेबैक उन्हें नेतृत्व योग्य बनाती है।
- करियर आधार मजबूत – Headingley टेस्ट और Lord’s में प्रदर्शन ने उन्हें टेस्ट vice-captain बनाने में अहम भूमिका निभाई।
- प्रेरक और उदाहरण – injury से comeback तक की कहानी, medical fraternity और sports world में प्रेरणा बन चुकी है।
Indian क्रिकेट को पंत की क्षमता, field fitness और adaptability ने चोटिल होने के बावजूद उदाहरण दिया है।
✅ निष्कर्ष
ऋषभ पंत की दुर्घटना के बाद रोमांचक वापसी क्रिकेट की सबसे प्रेरक कहानियों में से एक है। 90° तक मुड़ा घुटना, shattered ligaments, मौत का डर—इन सब के बीच उन्होंने न सिर्फ अपने आप की रिकवर किया बल्कि अपनी फिटनेस को दोबारा हासिल कर मैदान में उतरे और चौके छक्के जड़े। उनका comeback सिर्फ व्यक्तिगत उत्सव नहीं, बल्कि Indian cricket के भविष्य में leadership honesty, resilience, and skill की महत्ता की याद दिलाता है।
उनकी story से प्रेरणा लेते हुए कई खिलाड़ी, especially youngsters, सीखेंगे कि setbacks ही springboard बन सकते हैं—for greatness।
अगली बार जब आप पंत को crease में खड़े देखेंगे—जाने कि ये जोशीला Spiderman सिर्फ एक player नहीं; एक जीवित मिसाल है।